Space Farming – चीन ने अन्तरिक्ष में उगाए टमाटर और प्याज ,

Space Farming

चीन के अन्तरिक्ष यात्रियों ने अन्तरिक्ष स्टेशन पर प्याज और टमाटर की सब्जियां उगा कर सफलता हासिल की है , पहले अमेरिका भी अन्तरिक्ष में Space Farming करने का दावा कर चुका है ।

चीन के अंतरिक्ष यात्रियों की एक टीम ने अन्तरिक्ष में प्याज और टमाटर की खेती करने में सफलता हासिल की है । दरअसल Space Farming के तहत चीनी अंतिरक्ष यात्रियों ने तियांगोंग अंतरिक्ष स्टेशन पर टमाटर और प्याज की ताजी सब्जियां उगाई हैं. मिशन कमांडर जिंग हैपेंग ने अंतरिक्ष यात्री झू यांगझू और गुई हाइचाओ के साथ जून में सब्जी की खेती की. साथ ही उन्होंने इसकी उपज ली और खाने में भी काम में लिया , माना जा रहा है कि चीनी अंतरिक्ष यात्रियों का यह प्रयास आने वाले दिनों में बेहद फायदेमंद साबित होगा ।

ऍस् डॉट कॉम की रिपोर्ट के अनुसार, चीन के शेनझोउ 16 मिशन के अंतरिक्ष यात्री कई महीने लंबी अपनी यात्रा को सफलतापूर्वक पूरा करके 31 अक्टूबर को पृथ्वी पर लौट आए हैं. बता दें कि शेनझोउ-16 मिशन चीन का पांचवां मानवयुक्त मिशन था । गौरतलब है कि इससे पहले भी कर रिपोर्ट में दावा किया गया था कि चीन स्पेस में कई तरह की फसलें उगा रहा है । रिपोर्टर के अनुसार, चीन के वैज्ञानिक स्पेस में अंतरिक्ष किस्म के मक्का, सोयाबीन, तिल, कपास, चावल समेत कई तरह की फसलें उगा रहे हैं.

Space Farming में टमाटर और प्याज और चेरी की खेती

रिपोर्ट के अनुसार, मिशन कमांडर जिंग हैपेंग ने दावा किया कि वे लेट्यूस के चार कटाई करने में सफल रहे है । इस सफलता के बाद अंतरिक्ष यात्रियों ने अगस्त में Space Farming में चेरी टमाटर और हरा प्याज उगाने पर काम किया, जो सफल रहा. चीन अंतरिक्ष यात्री अनुसंधान और प्रशिक्षण केंद्र के एक शोधकर्ता यांग रेन्ज़ ने बताया कि चीन का लक्ष्य 2030 से पहले चंद्रमा पर अंतरिक्ष यात्रियों को भेजना है और अगले दशक के भीतर एक मून बेस स्थापित करना है, जिसे अंतर्राष्ट्रीय चंद्र अनुसंधान स्टेशन (ILRS) के रूप में जाना जाएगा ।

Space Farming में अमेरिका अंतरिक्ष में मूली उगा चुका है  

चीन से पहले अन्तरिक्ष में अमेरिकी स्पेस एजेंसी नासा ने भी कई तरह की फसलें स्पेस में उगाने का दावा किया है. हाल ही में नासा ने एक वीडियो शेयर करते हुए जानकारी दी थी कि उसनें दुनिया में पहली बार स्पेस में मूली उगाई है. ये मूली 27 दिन में तैयार हो गई थी और इसका रंग आम मूली के मुकाबले सफेद नहीं बल्कि हल्का बैंगनी था ।

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